मुंबई के लिए 238 वंदे मेट्रो का जल्द निकलेगा टेंडर, लोकल में सफर करनेवालों के लिए गुड न्यूज
वंदे मेट्रो मौजूदा एसी लोकल से अडवांस होंगी। खासतौर पर मुंबई की भीड़ के हिसाब से इनमें ज्यादा कूलिंग और वेंटिलेशन की अतिरिक्त व्यवस्था की जाएगी। सभी रेक को चरणबद्ध तरीके से सर्विस में शामिल किया जाएगा। रेलवे बोर्ड से मुंबई के लिए 238 वंदे मेट्रो की मंजूरी मिल चुकी है। अब मुंबई रेल विकास निगम (MRVC) इन्हें खरीदने की प्रक्रिया शुरू करने जा रहा है। इसका टेंडर जल्द निकलेगा। मुंबई अर्बन ट्रांसपोर्ट प्रॉजेक्ट (MUTP) 3 और 3A के तहत मुंबई के लिए 238 एसी ईएमयू खरीदी जानी थीं। इन्हें अब वंदे मेट्रो नाम दिया है।
मौजूदा एसी लोकल के संकट
मुंबई में गर्मियों के मौसम में लगातार एसी लोकल के कूलिंग सिस्टम काम नहीं करते, तो कभी दरवाजे बंद नहीं होने की शिकायतें मिल रही हैं। पश्चिम रेलवे पर अभी रोजाना 79 और मध्य रेलवे पर 56 सेवाएं चल रही हैं। ये 135 सेवाएं 14 रेक से चलाई जा रही हैं। प्रति रेक की औसतन दस एसी लोकल सेवाएं चल रही हैं। इन 14 रेक में से सबसे पहला रेक मुंबई में 2015 में पहुंच चुका था। इनमें से कुछ रेक की पीरियोडिक ओवरहॉलिंग की हो चुकी है, लेकिन जानकारों का मानना है कि पश्चिम रेलवे पर भीड़ के हिसाब से कूलिंग सिस्टम मौजूदा लोकल में नाकाफी है। इसके अलावा एक मुद्दा टिकटों की कीमत का भी है।
एसी लोकल के सीजन टिकट की दरें बहुत ज्यादा हैं। सरकार ने दैनिक टिकटों की दरों को कम किया है, जिनका ज्यादा इस्तेमाल नहीं होता है। दैनिक टिकट खरीदने वालों की भी शिकायतें रहती हैं कि एसी लोकल के टाइमटेबल से यदि कार्ड टिकट खरीद भी लें, तो कई बार सर्विस रद्द हो जाती है। कई बार लोग सोशल मीडिया पर सर्विस रद्द होने की स्थिति में एसी टिकट की रकम लौटाने की डिमांड करते हैं।
कैसे अलग होगी वंदे मेट्रो
1. एसी ट्रेनों के लिए स्पेशल डिपो: वंदे मेट्रो के रखरखाव के लिए MUTP 3 और 3A के तहत दो डिपो की भी मंजूरी बोर्ड से मिल चुकी है। पश्चिम रेलवे के वानगांव और मध्य रेलवे के भिवपुरी में इनके लिए डिपो बनेंगे। मौजूदा एसी ईएमयू का रखरखाव वहीं होता है, जहां सामान्य लोकल ट्रेनों का मेंटिनेंस होता है।
2. वेंडर के लिए अलग कोच:
डिब्बा वालों और अन्य वेंडर्स की ओर से लगातार एसी लोकल में अलग कोच देने की मांग हो रही है। इसे वंदे मेट्रो में पूरा किया जाएगा। वंदे मेट्रो में वेंडर्स के लिए दो कोच होंगे, जिनका एसी डक्ट पूरे रेक से अलग होगा। सब्जी, फूल या मछली इत्यादि की गंध एसी डक्ट के माध्यम से पूरे कोच में न पहुंचे, इसलिए अलग किया जाएगा।